कम आत्मसम्मान तब होता है जब किसी को इस बात का विश्वास नहीं होता कि वे कौन हैं और क्या कर सकते हैं। वे अक्सर अक्षम, अप्राप्य या अपर्याप्त महसूस करते हैं। कम आत्मसम्मान के साथ संघर्ष करने वाले लोग लगातार गलतियाँ करने या दूसरे लोगों को नीचा दिखाने से डरते हैं।
कम आत्मसम्मान के लक्षण क्या हैं?
कम आत्मसम्मान के लक्षणों में शामिल हैं:
- नकारात्मक बातें कहना और अपने बारे में आलोचनात्मक होना।
- अपनी नकारात्मकताओं पर ध्यान केंद्रित करना और अपनी उपलब्धियों को अनदेखा करना।
- यह सोचना कि दूसरे लोग आपसे बेहतर हैं।
- प्रशंसा स्वीकार नहीं करना।
- उदास, उदास, चिंतित, लज्जित या क्रोधित महसूस करना।
आत्म-सम्मान कम होने का क्या कारण है?
कम आत्मसम्मान के कारण
दुखी बचपन जहां माता-पिता (या शिक्षक जैसे अन्य महत्वपूर्ण लोग) अत्यंत महत्वपूर्ण थे। स्कूल में खराब शैक्षणिक प्रदर्शन के परिणामस्वरूप आत्मविश्वास की कमी होती है। चल रहे तनावपूर्ण जीवन की घटना जैसे संबंध टूटना या वित्तीय परेशानी।
आत्म-सम्मान किस उम्र में कम होता है?
बुढ़ापा। मेटा-विश्लेषण से पता चला है कि आत्म-सम्मान, कहीं 60 और 70 वर्ष के बीच चरम पर पहुंचने के बाद, 90 वर्ष की आयु के बाद बहुत जल्दी गिरना शुरू हो जाता है।
कम आत्मसम्मान क्या विकार है?
जो लोग सामान्यीकृत चिंता विकार (जीएडी) से जूझते हैं, वे अक्सर खुद को कम आत्मसम्मान से जूझते हुए पाते हैं। हो सकता है कि उन्हें खुद पर कम भरोसा हो या उन्हें लगता है कि वे बेकार हैं।